बक्सर जिले (Buxar) के पुलिस कप्तान एक्शन में हैं. कर्तव्यनिष्ठा और अपनी ड्यूटी के प्रति समर्पित आईपीएस अधिकारी शुभम आर्य ने लापरवाह और कोताही बरतने वाले पुलिसकर्मियों को पहले सावधान किया. उसके बाद अब उन्होंने एक्शन लिया है.
पुलिस अधीक्षक शुभम आर्य ने शुक्रवार को कर्तव्य में लापरवाही और प्रशासनिक चूक के लिए एक उपनिरीक्षक (एसआई) को निलंबित कर दिया और औद्योगिक क्षेत्र थाने के स्टेशन हाउस ऑफिसर (एसएचओ) सहित 100 पुलिस कर्मियों का वेतन रोक दिया.
अवैध वसूली के बाद एक्शन में एसपी
बक्सर (Buxar) एसपी ने एक वीडियो सामने आने के बाद एसआई और पुलिसकर्मियों के खिलाफ कार्रवाई की, जिसमें ट्रकों को एनएच-922 पर छोटे वाहनों के लिए निर्धारित लेन से अवैध रूप से गुजरने की अनुमति दी गई थी. बदले में, ड्राइवरों से कथित तौर पर प्रति ट्रक 2,000 रुपये से 3,000 रुपये के बीच शुल्क लिया जा रहा था.
फुटेज में चेकपॉइंट पर पैसे की अवैध वसूली को स्पष्ट रूप से दिखाया गया है. पुलिस के अनुसार, एसआई सुनील कुमार राय को पुलिस लाइन में रिपोर्ट करने का निर्देश दिया गया है. औद्योगिक क्षेत्र थाने के एसएचओ संजय कुमार का वेतन समय पर मामले का निपटारा न करने के कारण रोक दिया गया है.
दरोगा और होम गार्ड की दिखी ड्यूटी में लापरवाही
उधर, एसएचओ ने इस संबंध में कई शिकायतें मिलने की बात स्वीकार की. उन्होंने अपने स्वयं के वीडियो दस्तावेज के माध्यम से भी गलत काम की पुष्टि की, जिसमें पता चला कि जब भी एसआई सुनील कुमार राय ड्यूटी पर थे, यह अवैध गतिविधि और बढ़ गई थी. उन्होंने कहा कि होमगार्ड विजय यादव भी इस कदाचार में शामिल पाया गया.
यह अवैध गतिविधि 11 जून को तब प्रकाश में आई, जब गीली रेत से लदा एक ट्रक सही मार्ग को बायपास करने का प्रयास करते हुए पकड़ा गया. यातायात निरीक्षक रोहित कुमार ने हस्तक्षेप किया और वाहन को जाने देने से मना कर दिया. कथित तौर पर एसआई मौके पर पहुंचे और निरीक्षक पर ट्रक को छोड़ने का दबाव बनाने का प्रयास किया.
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100 पुलिस कर्मियों के वेतन पर रोक
हालांकि, निरीक्षक ने मामले को खनन विभाग तक पहुंचाया, जिसके बाद आगे की जांच और कार्रवाई की गई. बक्सर (Buxar) गोलंबर और टोल प्लाजा के बीच यातायात नियंत्रण की जिम्मेदारी यातायात पुलिस के डीएसपी के पास है. राय और यादव दोनों को उनके आदेश के तहत तैनात किया गया था. हालांकि, वीडियो साक्ष्य और आंतरिक गवाही के आधार पर, यह निष्कर्ष निकाला गया कि अवैध संचालन एक संगठित तरीके से किया जा रहा था.
वही कर्तव्य में लापरवाही के कारण 100 पुलिस पदाधिकारियों का वेतन पुलिस अधीक्षक, बक्सर द्वारा धारित किया गया.